Free Ration Scheme: गरीबों और जरूरतमंदों के लिए बड़ी खुशखबरी आई है। केंद्र सरकार ने फ्री राशन योजना में बड़ा बदलाव करते हुए अब हर लाभार्थी को डबल राशन देने का ऐलान कर दिया है। 1 जुलाई से इस नई व्यवस्था के तहत सभी पात्र परिवारों को हर महीने पहले से दोगुनी मात्रा में गेहूं, चावल और दालें मिलेंगी। इस फैसले का सीधा फायदा देश के करोड़ों लोगों को मिलेगा जो महंगाई के इस दौर में राशन के भरोसे अपना घर चलाते हैं। इस नई योजना को लेकर लोगों में जबरदस्त उत्साह है और राशन डिपो पर भीड़ बढ़ने लगी है।
पहले क्या मिल रहा था और अब क्या बदलेगा
अब तक प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना (PMGKAY) के तहत पात्र परिवारों को हर महीने प्रति सदस्य 5 किलो अनाज मुफ्त मिलता था। इसमें गेहूं और चावल शामिल थे। लेकिन अब इस मात्रा को बढ़ाकर प्रति व्यक्ति 10 किलो कर दिया गया है। यानी अगर किसी परिवार में 4 सदस्य हैं, तो अब उन्हें 40 किलो अनाज मिलेगा, जो पहले 20 किलो हुआ करता था। यह बदलाव खासतौर पर गरीब और मजदूर वर्ग के लिए राहत लेकर आया है, क्योंकि कई जगहों पर रोजगार और आय का स्रोत कमजोर बना हुआ है।
किन लोगों को मिलेगा डबल राशन
यह डबल राशन सुविधा उन्हीं लोगों को मिलेगी जो राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (NFSA) के तहत आते हैं। इसमें अंत्योदय कार्डधारक (AAY) और प्राथमिकता श्रेणी (PHH) वाले कार्डधारक शामिल हैं। सरकार का मकसद उन लोगों तक ज्यादा अनाज पहुंचाना है जो दैनिक मजदूरी, निम्न आय वर्ग या ग्रामीण क्षेत्रों में रहते हैं। इसके अलावा कुछ राज्य अपने स्तर पर भी राशन की अतिरिक्त मात्रा दे सकते हैं। जिनके पास राशन कार्ड नहीं है, उन्हें अभी भी इस सुविधा से वंचित रहना पड़ेगा, इसलिए पात्रता की जांच करवाना जरूरी है।
क्या देना होगा कोई शुल्क
सबसे अच्छी बात यह है कि यह डबल राशन बिल्कुल मुफ्त दिया जाएगा, यानी आपको इसके लिए कोई पैसे नहीं देने होंगे। केंद्र सरकार इसका पूरा खर्च वहन कर रही है और राज्य सरकारें इस वितरण की निगरानी करेंगी। पहले कई राज्यों में कुछ मात्रा में अनाज के लिए मामूली शुल्क लिया जाता था लेकिन अब 10 किलो अनाज की पूरी मात्रा मुफ्त में दी जाएगी। सरकार का कहना है कि इस स्कीम के तहत कोई भी गरीब भूखा न सोए और हर जरूरतमंद को भरपूर अनाज मिले।
राशन डीलरों को लेकर उठाए गए सख्त कदम
डबल राशन योजना के लागू होते ही सरकार ने राशन डीलरों के लिए भी सख्त निर्देश जारी किए हैं। अब हर डीलर को समय पर राशन वितरण करना होगा और यदि कोई गड़बड़ी या कालाबाजारी पाई जाती है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। आधार कार्ड से सत्यापन, ई-PoS मशीन का प्रयोग और डिजिटल रसीदें अनिवार्य की गई हैं ताकि पारदर्शिता बनी रहे। जिन लाभार्थियों को समय पर राशन नहीं मिल रहा, वे अब ऑनलाइन शिकायत भी दर्ज करा सकते हैं और त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
योजना के पीछे सरकार का मकसद क्या है
सरकार का यह कदम सामाजिक सुरक्षा को और मजबूत बनाने की दिशा में बड़ा फैसला माना जा रहा है। बढ़ती महंगाई और बेरोजगारी के बीच गरीब परिवारों के सामने भोजन की समस्या गंभीर होती जा रही थी। इसलिए डबल राशन योजना से सरकार का उद्देश्य यह है कि कोई भी नागरिक भूख से परेशान न हो। इसके साथ ही खाद्य सुरक्षा को लेकर भारत की वैश्विक छवि भी मजबूत बनाना इस नीति का अहम भाग है। यह योजना खासतौर पर उन वर्गों के लिए राहत लेकर आई है जिनकी मासिक आमदनी बहुत सीमित है।
राशन कैसे और कहां से मिलेगा
जिन लोगों के पास वैध राशन कार्ड है, वे अपने नजदीकी सरकारी राशन डिपो से हर महीने यह डबल राशन प्राप्त कर सकते हैं। वितरण की तारीखें राज्य सरकार तय करती हैं और आमतौर पर हर महीने की 1 से 10 तारीख के बीच राशन बांटा जाता है। लाभार्थियों को अपने राशन कार्ड और आधार कार्ड साथ लाना होगा और अंगूठा या OTP से पहचान सत्यापित करनी होगी। कुछ राज्यों में मोबाइल मैसेज या ऐप के जरिए भी वितरण की जानकारी दी जा रही है ताकि भीड़ से बचा जा सके।
कब तक लागू रहेगी यह योजना
फिलहाल सरकार ने इस डबल राशन योजना को अगले 6 महीनों तक लागू रखने का फैसला किया है। यानी जुलाई से दिसंबर 2025 तक सभी पात्र परिवारों को हर महीने 10 किलो अनाज मुफ्त मिलेगा। इसके बाद सरकार योजना की समीक्षा करेगी और जरूरत पड़ने पर इसे आगे बढ़ाया जा सकता है। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर महंगाई का स्तर यूं ही बना रहा तो इस स्कीम को 2026 तक बढ़ाने की भी संभावना है। फिलहाल तो यह योजना लाखों परिवारों के लिए राहत बनकर आई है।
अस्वीकृति
इस लेख में दी गई जानकारी सरकार द्वारा घोषित योजनाओं, सरकारी पोर्टल्स और समाचार स्रोतों पर आधारित है। राज्य के अनुसार राशन वितरण की तिथियां और नियमों में थोड़ा अंतर हो सकता है। कृपया राशन से संबंधित किसी भी प्रकार की जानकारी के लिए अपने राज्य की सार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) वेबसाइट या स्थानीय खाद्य विभाग से संपर्क करें। यह लेख केवल जानकारी देने के उद्देश्य से लिखा गया है और इसे सरकारी आदेश या कानूनी दस्तावेज के रूप में न समझें।